Monday, January 19, 2009
तीन जजों के तबादले की सिफारिश
नई दिल्ली: उच्चतम न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश केजी बालाकृष्णन ने न्यायाधीशों से जुडे़ भ्रष्टाचार के मामलों की निष्पक्ष जांच के लिए पंजाब एवं हरियाणा के न्यायाधीश निर्मल यादव समेत इलाहाबाद और उत्तराखंड उच्च न्यायालयों के भी एक-एक न्यायाधीशों के स्थानातंरण की सिफारिश की है। इस पर अंतिम फैसला केंद्र सरकार करेगी। इलाहाबाद उच्च न्यायालय के न्यायाधीश आर मिश्रा का हरियाणा उच्च न्यायालय में स्थानांतरण किया जा रहा है। इलाहाबाद तथा उत्तराखंड उच्च न्यायालयों के तीन अन्य न्यायाधीश भी किसी अन्य उच्च न्यायालय में भेजे जा रहे हैं। इन तीनों के तबादले की सिफारिश इसलिए की है ताकि गाजियाबाद जिला अदालत में सात करोड़ रुपये के जीपीएफ घोटाले के मामले की जांच प्रभावित न हो। हालांकि स्थानांतरण पर अंतिम फैसला केंद्र सरकार करेगी। न्यायमूर्ति बालाकृष्णन ने पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय के न्यायाधीश निर्मल यादव के स्थानांतरण की भी सिफारिश की है। वह 15 लाख रुपये घूस के ऐसे मामले में कथित रूप से संलिप्त हैं जिसमें धोखे से यह राशि उनके बजाय एक अन्य महिला न्यायाधीश निर्मलजीत कौर के घर पर पहुँचा दी गई। न्यायमूर्ति बालाकृष्णन तीन न्यायाधीशों की जांच समिति की रिपोर्ट के आधार पर न्यायमूर्ति यादव को पहले ही नोटिस जारी कर चुके हैं। समिति ने न्यायमूर्ति यादव को न्यायिक कदाचार का दोषी पाया था। हालांकि न्यायमूर्ति यादव ने न्यायमूर्ति बालाकृष्णन को भेजे पत्र में आरोप लगाया है कि उच्चतम न्यायालय के ही एक न्यायाधीश इस मामले की जांच प्रभावित कर रहे हैं। उनका यह भी आरोप है कि जब हरियाणा के अतिरिक्त महाधिवक्ता संजीव बंसल के कर्मचारी अगस्त 2008 में 15 लाख रुपये लेकर न्यायमूर्ति कौर के घर पर पहुंचे थे तब उच्चतम न्यायालय के उक्त न्यायाधीश भी कथित रूप से उनके घर पर मौजूद थे।
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